हाथ या पैर में प्लास्टर लगने के बाद क्या करें और क्या ना करें | What do and what no to do in plaster

हाथ या पैर में प्लास्टर लगने के बाद क्या करें और क्या ना करें | What do and what no to do in plaster

हड्डी के टूटने (broken bone) पर चढ़वाया जाता है प्लास्टर (plaster)। टूटे अंग को स्थिर (stable) रखने में मदद करता है। प्लास्टर बंधे रहने के दौरान अंगो (do some movement) में करे मूवमेंट। नुकीली चीजों आदि से खुजलाने (avoid itching with sharp things) की कोशिश ना करें।

हमारे शरीर की किसी भी हड्डी के टूटने पर हम प्लास्टर (plaster use on any broken body part) चढवाते है। प्लास्टर चढ़ाने का उद्देश्य (motive) सिर्फ इतना ही होता है कि हड्डी टूटा वाला अंग कसकर बंध (connect it strongly) जाये ताकि हड्डी अपने स्थान से हटे नहीं। चोट लगने पर प्लास्टर बांधने से हड्डियां जुड़ती (plaster connects the bone again) हों ऐसा नहीं है। टूटी हुई हड्डी अपने आप समय लेकर प्राकृतिक रूप (it connects naturally) से जुड़ती है। जरूरत सिर्फ टूटे हुए अग को स्थिर (broken part to be stable) रखने की होती है। यह काम प्लास्टर (this is the work of a plaster) करता है। पुराने जमाने की तुलना मे अब बाजार (comparatively old time) में कई तरह के नए प्लास्टर (lots of new plaster in market) भी आ गए है। जो देखने में स्टाइलिश (stylish look) भी लगते है। प्लास्टर के बंधे रहने तक आपको  सावधानी (you have to be very careful) रखनी चाहिए वर्ना उसका काम ठीक ढ़ंग (other bones not connected properly) से नहीं हो पाएगा।

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शरीर के किसी भी अंग पर प्लास्टर बंधा होने पर उस हिस्से को तकिये (with the help of pillow) की मदद से थोड़ा सा ऊपर उठाकर रखना चाहिए। इससे शरीर का रक्त संचालन (blood flow works properly) ठीक बना रहता है।उस अंग को कितने आराम (detail of how much rest needed) की आवश्यकता है, इसकी भी पूरी जानकारी लें। अधिक हिलाने डुलाने (when you move more) से हड्डी देर से जुड़ सकती है (take time to connect) और खिसक भी सकती है।

प्लास्टर बंधे रहने के दौरान हमेशा अपनी उंगलियों को घुमाते. (always do movement with fingers) रहना चाहिए वर्ना अंग के सुन्न. (or it will be danger when your body part stilled) पड़ जाने का खतरा रहता है। प्लास्टर लगवाने के बाद डॉक्टर से जानकारी ले लें कि प्लास्टर लगे अंग को कितना हिलाना. (how much movement needed) डुलाना चाहिए, कितना काम उस अंग से लेना चाहिए. (how much work to take from that part) और कितना वजऩ. (how much weight on that part) उस अंग पर डालना चाहिए।

प्लास्टर. (plaster) लगने पर कभी भी पेंसिल. (pencil) या किसी नुकीली वस्तु. (sharp thing) से मत खुजलाएं. (no itching)। इसके अन्दर लगने पर इन्फेक्शन. (infection) भी हो सकता है। प्लास्टर को पानी से बचा. (Avoid from water) कर रखें।अगर प्लास्टर के दौरान आपकी उँगलियों में दर्द होने लगे. (pain in broken part) या वे सुन्न. (stilled) पड़ जायें और उनमें कालापन. (blackness) आ जायें तो तुरंत अपने नजदीकी डॉक्टर. (consult the doctor) से सलाह लें।

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बिना डॉक्टर की मदद के कभी भी खुद से प्लास्टर को. (never cut plaster without the consult of doctor) न काटें, न ही छोटा करें। समय से पहले प्लॉस्टर काट देने से हड्डी मुड़. (bone can be bend) सकती है और कच्ची. (raw connected) भी जुड़ सकती है। मालिश, खींचतान और सिंकाई हड्डी को नुकसान. (problem)भी पहुंचा सकते हैं।

आमतौर पर प्लास्टर 3 सप्ताह से 6 सप्ताह के लिए हड्डी टूटने वाले स्थान. (on broken body part) पर लगाए जाते हैं। मल्टीपल बोन्स टूटने. (multiple broken bones) या एक ही हड्डी में कई जगह टूटने की स्थिति में प्लॉस्टर 2 माह से 3 माह तक भी लगाना पड़ सकता है।

 

प्लास्टर के बाद सावधानी

मानव शरीर (human body) में छोटी-बड़ी सब मिलाकर कुल 206 हड्डियाँ (bones) होती हैं. आकार, माप व कार्यशैली के आधार पर इनमें भिन्नता पायी जाती है. कभी-कभी दुर्भाग्यवश कोई दुर्घटना (accident) होने से, अचानक किसी ऊँचे स्थान से गिर जाने से या फिर शरीर में संतुलन की कमी (lack of physical balance) के कारण गिर जाने से हमारे शरीर की हड्डियाँ टूट जाती हैं. जिसे चिकित्सकीय भाषा में फ्रेक्चर (fracture) या अस्थि भंग भी कहते हैं और जिस कारण शरीर के प्रभावित अंग में अत्यंत पीड़ा होती है. ऐसी स्थिति में मरीज को तुरंत किसी हड्डियों के डॉक्टर (orthopedic specialist) के पास ले जाना चाहिए. डॉक्टर प्रभावित स्थान पर प्लास्टर (plaster) करने से पहले शरीर के उस भाग के आंतरिक अंगों का एक्स-रे मशीन द्वारा निरीक्षण करता है (अर्थात् एक्स-रे लेता है). इस प्रक्रिया को तकनीकी भाषा में  रेडियोग्राफी (Radiography) कहा जाता है. रेडियोग्राफी करने के बाद प्रभावित अंग पर प्लास्टर (plaster) किया जाता है. प्लास्टर (plaster) करने का उद्देश्य टूटी हुई हड्डियों (broken bones) को स्थिर (immobilize) करना होता है ताकि हड्डियाँ प्राकृतिक रूप से (naturally) आपस में जुड़ सके. प्लास्टर (plaster) करवाने के बाद कुछ बातों का ध्यान रखना अत्यंत आवश्यक है (प्लास्टर के बाद सावधानी), जैसे कि

 

  1.  प्लास्टर किये हुए अंग (हाथ या पैर) को कम से कम दो दिन तक (48 घंटे) किसी स्लिंग (sling) या तकिये का सपोर्ट (support) देते हुए उठाकर रखना चाहिए. ऐसा करने से प्रभावित अंग मे सूजन की संभावना ना के बराबर हो जाती है.

 

  1.  प्लास्टर (plaster) को गीला होने (भीगने) से बचाए. कास्ट (cast) गीला होने से  कमजोर हो जाता है. जिसके कारण टूटी हुई हड्डियों को पूरा सपोर्ट (support) नहीं मिल पाता. और यदि कभी गलती से प्लास्टर (plaster) गीला हो भी जाए तो ऐसी स्थिति में तुरंत किसी नजदीकी हॉस्पिटल या डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए.

 

  1.  स्नान करते समय प्लास्टर (plaster) को भीगने से बचाने के लिए उसे दो प्लास्टिक की थैलियों (plastic bags) से अच्छी तरह ढक कर रबड़ बैंड (rubber band) से सील (seal) कर दें, जिससे वह गीला होने से बच जाए. यदि संभव हो तो प्लास्टर (plaster cast) के लिए बने हुए विशेष प्रकार के कास्ट कवर (cast cover), जो कि आजकल बाज़ार में आसानी से उपलब्ध है, का प्रयोग करें. कास्ट कवर (cast cover) आपको किसी भी मेडिकल स्टोर (medical store) पर मिल जाएगा.

 

  1.  प्लास्टर करवाने के बाद शुरुआत के दिनों में आपको प्रभावित स्थान पर खुजली (itching) महसूस हो सकती है. कास्ट के अंदर किसी नुकीली वस्तु से खुजली ना करें. इससे आपको संक्रमण (infections) आदि होने का खतरा रहता है और प्रभावित अंग में दर्द की शिकायत भी हो सकती है. यह खुजली शुरूआत के दो – तीन दिन तक होती है.

 

  1.  अपनी उँगलियों व पंजों को हिलाते रहें. जिससे कि प्रभावित आंतरिक अंगों मे ब्लड सर्कुलेशन (blood circulation) बना रहे.

 

  1.  प्लास्टर कास्ट (plaster cast) से किसी भी प्रकार की छेड़खानी ना करें. जैसे कि कास्ट को काट-छाँट कर छोटा करना आदि.

 

  1.  जब तक प्लास्टर लगा रहे तब तक कोई भारी वजन (heavy weight) ना उठायें. यदि पैर में प्लास्टर लगा हो तो चलने के लिए बैसाखी (crutches) का प्रयोग करें.

 

  1.  कास्ट के अंदर या बाहर स्प्रे (spray), पर्फ्यूम (perfume), पाउडर (powder) आदि का प्रयोग ना करें. इससे त्वचा में जलन (skin irritation) या संक्रमण (infection) आदि की समस्या उत्पन्न हो सकती है.

 

प्लास्टर कटने के बाद क्या करे

 

प्लास्टर को खोलने (काट कर हटाने) से पहले डॉक्टर प्रभावित अंग का एक्स-रे (x-ray) द्वारा निरीक्षण करता है. प्लास्टर को काटने के लिए विशेष प्रकार के विद्युतीय उपकरण (electrical tools) का प्रयोग किया जाता है जिसे प्लास्टर कटर (plaster cutter) कहते हैं. प्लास्टर कटने के बाद कुछ सावधानियां बरतनी चाहिए. आइये जानते हैं कि प्लास्टर खुलने के बाद क्या करना चाहिए.

 

  1.  प्लास्टर खुलने के बाद आपकी त्वचा का रंग हल्का पीला (pale), रूखी (dry) व परतदार (flaky) नज़र आ सकती है. त्वचा के बाल मोटे व काले हो जाते हैं. त्वचा से दुर्गंध आना व मांसपेशियों का छोटा दिखना स्वाभाविक होता है. त्वचा को साफ करने के लिए माइल्ड सोप (mild soap) व गुनगुने पानी (lukewarm water) का इस्तेमाल करें. हल्के हाथों से त्वचा को साफ करें. त्वचा को रगड़ कर साफ ना करें.

 

  1.  धोने के बाद उसे किसी मुलायम तौलिये से पोंछ कर सुखायें. त्वचा के सूखने के बाद उस पर लोशन लगायें. आप चाहें तो नारियल का तेल (coconut oil) भी लगा सकते हैं.

 

  1.  यदि प्लास्टर 3 हफ्ते से अधिक समय तक लगा हो तो प्रभावित त्वचा को प्रतिदिन दो बार गरम पानी में 20 मिनट तक डूबा कर रखें.

 

  1. प्लास्टर हटाने के बाद कुछ दिन तक आराम करें. आप सामान्य रूप से अपने सभी कार्य कर सकते हैं परंतु कोई थका देने वाला भारी काम ना करें.

 

  1.  कई मामलों में प्रभावित अंग को फिर से सामान्य रूप से सक्रिय करने के लिए physiotherapists की मदद ली जाती है. कुछ विशेष प्रकार की एक्सरसाइज (exercise) द्वारा physiotherapist आपके अंग को पुनः सामान्य अवस्था में ले आते हैं.

 

प्लास्टर हटाने के बाद सूजन

प्लास्टर कास्ट को हटाने के बाद सूजन होना स्वाभाविक है. यह सूजन (swelling) कुछ दिनों तक रहती है. सूजन को कम करने के लिए आप प्रभावित त्वचा की बर्फ (ice cube) से सेकांई कर सकते हैं. Physiotherapist द्वारा सुझाये गये एक्सरसाइज (exercises) को फॉलो (follow) करने से भी सूजन काफी हद तक कम हो जाती है. यदि सूजन अधिक दिनों तक रहे और कम ना हो तो ऐसी स्थिति में तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें. यदि सूजन के साथ प्रभावित अंग मे दर्द हो या त्वचा पर कोई घाव, फफ़ोलें आदि हो तो भी तुरंत डॉक्टर (doctor) से संपर्क करें.

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16 thoughts on “हाथ या पैर में प्लास्टर लगने के बाद क्या करें और क्या ना करें | What do and what no to do in plaster

  • September 15, 2017 at 6:10 pm
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    Sir mere pair me thodi c hairline aa gyi h girne se,, fracture ho gya h thoda sa,,, or agr doctor ne 1month k liye plaster chadhwane ko bola h or hm 3 weeks me katwa de to koi problem hogi kya…??

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    • September 16, 2017 at 5:37 am
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      personally mujhe to koi problem nahi hui, haan rest zaroor kiya tha….. medicine or home remedies bhi leta raha tha …. home remedies to 2-3 mahine tak leta raha tha..

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      • May 17, 2018 at 1:30 pm
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        sir mere na pair mai plaster lga hua tha use hate huye 1 week ho gya hai ab mai kitne din baad running start kar skta hu…..

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        • May 18, 2018 at 4:53 am
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          kya baat mahesh ji,

          khud se pyaar nahi hai kya ?

          2 mahine rest karo, fir walk start karo aur fir dheere dheere running..

          itni kya jaldi hai, olympic mein gold leke aana hai kya ??

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          • May 20, 2018 at 3:57 pm
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            sir swelling halki rehti hai ye kab tak jayegi….

          • May 21, 2018 at 5:17 am
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            jab mere leg mein plaster laga tha aur kuch time ke baad theek hone ke baad swelling rehit thi to main to ice pack se massage karta tha. us se swelling jaldi nikal gayi thi. aap bh idoctor se ice pack use karne ka pooch sakte ho….

          • May 22, 2018 at 4:36 am
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            okk
            par doctor ne mujhe garam paani se massage karne ko kaha tha ..
            wahi karta hu par massage karne ke baad jab thoda bahut walk karta hu to frr se swelling aa jaati hai iska kya matlab hai, mai last tym dr. se mila tha to unhone kaha tha ki ab swelling nhi aayegi, lekin swelling to abhi bhi rehti hai mai bahut pareshan ho gya hu sir………..

          • May 22, 2018 at 4:38 am
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            garam pani se swelling aati hai.. i am always using ice pack on swelling..

          • May 25, 2018 at 1:53 pm
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            ab mai jab chalta hu to ankle ke bend hone par ankle ke upar dard hota hai yeh dard plaster khulne ke baad hota hai ya frr dr. ke paas jaana padega mujhe….

  • November 17, 2017 at 1:34 am
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    Sir kal mera hath ka plaster khula hai hath ke upar sujan hai or hateli mai thoda nil bhi nazar a raha hai kya mai eski garam pani se sikar kar sakta hun

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  • November 17, 2017 at 1:37 am
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    Sir kal 16/11/2017, ko mere hath ka plaster khula hai mere hath ke kalai par sujan hai or hatheli m thoda nil bhi nazar a raha hai, kya mai hath ki sikar pani se kar sakta hu, ya ap kuch or sujhav bataiye

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    • November 17, 2017 at 5:08 am
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      sardar ji ram ram,

      bhai kuch na karo, medicine lo, haldi wala doodh piyo, naale hun ta sardi da mausam ya ghare haldi wali pinniya banwao te khao.

      sab hojuga theek.

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  • December 16, 2017 at 3:26 pm
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    Mera beta ka pair ka hadi frectucher ker gay hai. Ful pair ka plaster 13 December ko hu hai .usme bahut kujali ho raha hai. Eska kay upay hai.

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  • July 29, 2018 at 7:33 am
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    Sir mere pair Mai plaster chase 11 din ho Gaye hai per bharipan Dard jakdan chubhan kabhi kabhi hone lagti hai .

    Pair Kali hone per adhikter ESA ashik hota hai

    Sir Dard kab khatm hoga ?
    Please sir bataye

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